मोदी राज में पहाड़ में रोजगार, शिक्षा और स्वास्थ्य बीते जमाने की बातें हुआ: एडवोकेट जोशी

कोटद्वार। उत्तराखण्ड विकास पार्टी ने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि डबल इंजन की सरकार ने उत्तराखण्ड में विनाश के मील का पत्थर गाढ़ दिया है। मोदी सरकार के दस वर्षों के कार्यकाल में उत्तराखण्ड में पलायन की दर और तेज हो गई, यहाँ तक कि पलायन आयोग भी पौड़ी से पलायन कर देहरादून जाकर बैठ गया, ऐसे में मोदी सरकार से पलायन रोकने की सोचना बेमायने है। उन्होंने कहा कि पहली बार जंगली जानवरों का आतंक पहाड़ के शहरी इलाकों में मोदी राज में ही पहुंचा, और इस आतंक को खत्म करने की कोई ठोस योजना मोदी सरकार के पास नहीं है।

मोदी राज में नहीं दिलवा पा रहे हैं महिलाओं को इंसाफ

उत्तराखण्ड विकास पार्टी के सचिव एडवोकेट जगदीश चंद्र जोशी ने कहा कि मोदी राज में हम किरण नेगी, अंकिता भंडारी, ममता बहुगुणा और पिंकी  को इंसाफ नहीं दिलवा सके। यह अफसोसजनक है कि एक महिला प्रधान राज्य की महिलाओं के साथ हो रहे अन्याय को रोकने के लिए और महिलाओं को इंसाफ दिलवाने के लिए जनता को बार बार सड़कों पर उतरना पड़ रहा है, मगर मोदी सरकार में सुनवाई नहीं है।

हर दूसरे रोज बंगाल की महिलाओं के इंसाफ की बात करने वाले मोदीजी ने आज तक अंकिता भंडारी, किरण नेगी, ममता बहुगुणा के बारे में एक शब्द नहीं बोला। 

एडवोकेट जोशी ने कहा कि मोदी ने आजतक अंकिता भंडारी, किरण नेगी, पिंकी और ममता बहुगुणा को इंसाफ दिलवाने की बात मन की बात तक में नहीं कही। उन्होंने कहा कि जिस राज्य में सबसे ज्यादा महिलायें भाजपा की सदस्य हैं, उसी राज्य में महिलाओं को इंसाफ नहीं मिल पा रहा है और संघ प्रचारक महिलाओं के शोषण को पुरुषों की नीड कह कर बार खत्म कर देते हैं, जो कि कष्टप्रद है, ऐसी मानसिकता वाले पुरुषों को हम अपने घरों में घुसने दे रहे हैं जो हमारे लिए ही नुकसानदायक होगा।

मूल निवास खत्म,  बेची जा रही हैं डिग्रियाँ 

एडवोकेट जोशी ने कहा कि जल, जंगल, जमीन के हमारे अधिकार मूल निवास खत्म करने के साथ ही खत्म कर दिए गए हैं। बेरोजगारी चरम पर है पर हाकम सिंह जैसे नकल माफियाओं पर लगाम नहीं लग पा रही है। सौदान सिंह जैसे लोग अंकिता भंडारी के हत्यारे को बिना पढ़े ही बीएएमएस की डिग्री दे देते हैं, जो बताता है कि मोदी सरकार ने शिक्षा के नाम पर उत्तराखण्ड में वास्तव में केवल डिग्रियों की खरीद फरोख्त की जा रही है। युवा जब अपने हक के लिए सड़कों पर उतरता है तो युवा पर लाठीचार्ज होता है।

पहाड़ आज भी बिजली पानी सड़क स्कूल अस्पताल जैसी मूलभूत सुविधाओं से वंचित। 

उन्होंने कहा कि पहाड़ के गाँव आज भी बिजली, पानी, सड़क, स्कूल और अस्पताल जैसी मूलभूत सुविधाओं से महरूम हैं, जिस वजह से रोज कुछ लोग हमेशा हमेशा के लिए गाँव छोड़ने को मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि स्मार्ट सिटी के फेज 2 में देहरादून का नाम खत्म होना विकास की बानगी दिखा देता है।

मोदी सरकार को गैरसैंण से बैर। 

भाजपा गैरसैंण को राजधानी नहीं बनाना चाहती है जबकि राज्य आंदोलन शहीदों के सपनों के उत्तराखण्ड की राजधानी गैरसैंण है।

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